दिल्ली-एनसीआर में रहने वाले अथवा भविष्य में किराये का घर लेने वालों के लिए नरेंद्र मोदी सरकार ने बड़ी राहत प्रदान की है। इससे देशभर में रेंटल हाउसिंग सेक्टर को मदद मिलेगी। बुधवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में मॉडल टेनेंसी एक्ट को मंजूरी दी गई है। इसके दिल्ली समेत देश के सभी केंद्र शासित राज्यों में भी किराये से जुड़े नियमों में बदलाव हो सकेगा। नए कानून में दिल्ली समेत सभी राज्यों में नए नियम लागू करने की अनुमति भी प्रदान की दी गई है। बता दें कि राजधानी में दिल्ली विकास प्राधिकरण शहर में सस्ती दरों पर किराये के फ्लैट के लिए योजना तैयार कर रहा है।
डीडीए खुद चढ़ाए किराये पर फ्लैट
इसके तहत दिल्ली में निर्मित फ्लैटों को किराये पर दिया जाएगा अथवा नए फ्लैट बनाकर उन्हें किराये पर देगा। इस पर सहमति बनानी है। डीडीए अधिकारियों की मानें तो फिलहाल किफायती किराया आवास योजना प्राथमिक चरण में है। इस पर अधिकारियों की सहमति बनने के बाद ही आगे बढ़ जा सकता है। डीडीए के ऐसे कई फ्लैट सालों खाली पड़े हैं। अगर इन्हीं फ्लैटों को किराये पर दिया जाए तो डीडीए को बड़ा आर्थिक लाभ होगा। किलमिलाकर मॉडल टेनेंसी एक्ट के आने से दिल्ली विकास प्राधिकरण इस दिशा में तेजी से आने बढ़ेगा।
रेंटल हाउसिंग से जुड़े मामलों का होगा निपटारा
बताया जा रहा है कि रेंटल हाउसिंग से जुड़े मामलों को मॉडल टेनेंसी एक्ट के तहत स्थानीय प्राधिकरण किराये से जुड़े विवाद का निपटारा कर सकेंगे। इसके साथ ही नए कानून के तहत क्षेत्र में कानूनी व्यवस्था को सुधारने में मदद मिलेगी। इस कानून के तहत सरकार ने बेघरों के मुद्दे को भी ध्यान में रखा है। इसके मुताबिक, इस कानून में सभी आय वाले वर्गों के लिए किराये के मकान का पर्याप्त स्टॉक तैयार किया जा सकेगा।
बाजार का रूप ले सकेगा किराया मकान
आने वाले समय में धीरे-धीरे किराये के आवास की व्यवस्था को बाजार का रूप भी मिल सकेगा। मॉडल टेनेंसी एक्ट के आने के बाद सबसे बड़ा लाभ यह होगा कि खाली पड़े मकानों को किरायेदारों के लिए खोलने की कवायद होगी। केंद्र सरकार को उम्मीद है कि खासकर शहरों में आवास की कमी को दूर करने के लिए रेंटल आय को एक व्यापार मॉडल के रूप में भी देखा जा सकेगा।
दिल्ली में भी मिलेंगे अब किराये पर सस्ते मकान
बता दें कि जनवरी महीने में दिल्ली विकास प्राधिकरण ने किराये पर रहने वालों को खुशखबरी दी है। इसके तहत दिल्ली में महंगे मकान किराए पर लेकर रहने वालों के लिए डीडीए एक बड़ी योजना लेकर आया है। इसमें डीडीए ने दिल्ली के सैकड़ों कच्ची कॉलोनियों को शामिल किया है। डीडीए के प्रस्ताव कच्ची कॉलोनियों में 12 मीटर से अधिक चौड़ी सड़कों पर 1500 गज से अधिक बड़े प्लॉटों पर किराये पर देने के लिए मकान बनाए जा सकेंगे। इसमें अगर दो प्लॉटों को जोड़ने की जरूरत पड़ेगी तो उन्हें भी जोड़ा जा सकेगा। ताया जा रहा है कि ये किराये के फ्लैट किफायती किराया आवास (Affordable Rental Housing) के तहत लाए जाएंगे।
सफल होगा डीडीए की स्कीम
डीडीए का मानना है कि यह योजना 100 फीसद सफल होगी। इसके पीछे बड़ी वजह है कि दिल्ली में हर साल हजारों-लाखों की संख्या में लोग किराये के फ्लैट के लिए इधर-उधर चक्कर काटते हैं। इनमें ज्यादातर ट्रांसफर-पोस्टिंग के केस होते हैं। ऐसे में कई बार तो उन्हें मन मुताबिक, किराये का फ्लैट भी नहीं मिल पाता। यही वजह है कि डीडीए अधिकारियों का मानना है कि इससे जहां लोगों की दिक्कत दूर होगी, वहीं दिल्ली विकास प्राधिकरण का भी लाभ होगा।